- अध्ययन को लेकर बीएमआई पर नई बहस छिड़ने की संभावना पहली बार अमेरिका में 5.34 लाख लोगों पर हुए अध्ययन में खुलासा।
- डॉ.सुजाता कुमारी के अनुसार ज्यादा वजन वाले 66 लोगों में उच्च रक्तचाप, मधुमेह और मेटाबालिज्म से जुड़ी बीमारियों के जल्दी होने का खतरा रहता है। हालांकि इस अध्ययन के नतीजों की पुष्टि के लिए भारत व दुनिया के अन्य हिस्सों में और अध्ययन करना जरुरी हैं।
अधिक वजन को कई बीमारियों के जल्दी होने का कारण माना जाता है, जिसके आधार पर अब तक यह निष्कर्ष निकाला जाता रहा है कि सामान्य लोगों के मुकाबले मोटे लोगों का जीवन अपेक्षाकृत कम होता है।
एक बड़े शोध में यह आश्चर्यजनक खुलासा हुआ है कि ज्यादा वजन वाले लोगों (मोटे नहीं) में आदर्श वजन वाले लोगों की तुलना में आशंका सात फीसदी तक कम रहती मृत्यु की है यानी ऐसे लोग सात फीसदी अधिक जीते है।
बताया जा रहा है कि यह अध्ययन सामने आने के बाद बॉडी मास इंडेक्स यानी बीएमआई को लेकर दुनिया भर में नई बहस छिड़ने की संभावना है। क्योंकि इसी के आधार पर व्यक्ति को अक्सर अधिक वजन वाला या मोटापे से ग्रस्त घोषित किया जाता है। अमेरिका में गैर अमेरिकी समूहों की 5.34 लाख आबादी पर 1999-2018 तक हुए इस अध्ययन में यह नतीजा निकाला गया है।
मोटापा कोई रोग नहीं
जिनका बीएमआई 25-29.9 है, वे ओवरवेट यानी अधिक वजन वाले श्रेणी में रखे गए हैं। हालांकि ऐसे लोगों को मोटापे से ग्रस्त नहीं कहा जाता है। जिन लोगों का बीएमआई 25- 30 के बीच में है, उनकी मृत्यु दर अपेक्षाकृत कम होती है।